Daria at Kishansar Lake

Kashmir Great Lakes Trek : A Bawray Banjaray Guide

लास्ट मंडे जाते जाते हमने आपको Kashmir Great Lakes की ideal itinerary दी थी। वैसे तो कुछ भी करने का सबका अपना अपना तरीका और ताम झाम होता है, फिर भी किसी और के एक्सपीरियंस से अगर कुछ सीखने को मिल रहा हो तो सीखने में कोई हर्ज़ नहीं करना चाहिए। बताने को तो काफी है, जैसे आपको क्या करना चाहिए और कैसे करना चाहिए और यह भी बता सकते हैं कि हमने क्या किया था और कैसे किया था। अगर किसी एक चीज़ पर फ़ोकस करेंगे तो दूसरी वाली पीछे रह जाएगी, इसलिए दोनों का एक बैलेंस्ड मिक्स लिखने की कोशिश कर रहे हैं। हम बस इतना कहना चाहते हैं कि जाइए, ज़रुर जाइए पर उस डेस्टिनेशन या ट्रेक की कुछ वाइटल इनफार्मेशन जाने बिना नहीं और कश्मीर के ग्रेट लेक्स ट्रेक के लिए तो इस प्रॉब्लम को हम सॉल्व किये देते हैं अभी।

Mohammad Izhaar in sonmarg with Bawray Banjaray

आपकी यह ट्रेक शुरू होती है श्रीनगर-सोनमर्ग हाई वे पर सोनमर्ग से ठीक 3 किलोमीटर पहले। 3 किलोमीटर वाले माइलस्टोन पर राइट हैंड साइड पर एक ढाबा है। इसी ढाबे के बगल से Kashmir Great Lakes Trek का ट्रेल निकलता है। अगर आपको कुछ बिस्कुट विस्कुट खरीदने हों, तो यह लास्ट ढाबा है। इसके बाद सीधा नारनाग पहुँचने के बाद ही कोई दुकान वगैरह मिलेगी। अब आप को तो यह पता चल गया, पर जब हम गए थे तो हमको पता नहीं था। तो, हम ने कोई और ही ट्रेल पकड़ ली थी। पहले दिन कहाँ तक जाना है या कहाँ से जाना है कुछ भी पता नहीं था। दो एक घंटे बाद तो हमको नदी के दूसरी तरफ से सही वाली वाली ट्रेल दिख रही थी पर नदी पार करने की जगह ढूंढने में कुछ ज्यादा ही टाइम वेस्ट कर चुके थे, तो मन मार कर इस पार बिना किसी ट्रेल की ही चलते रहे। l अब अगर आपको एडवेंचर करना है, तो आप भी नदी के इस तरफ चल पड़ना, और अगर नहीं तो फिर ढाबे से ही सही वाली ट्रेल पकड़ लेना। जैसा हमारे साथ हुआ अगर आपके साथ भी हो और आपको भी कहीं अच्छा और साफ वेदर मिल जाए तो समझ लीजिए कि मज़े आने वाले हैं। जब भी मौका मिले, दो चार मिनट बैठके आराम से सोनमर्ग के हैवेनली नज़ारों का मज़ा लिया जा सकता है।

Mountains on the Kashmir Great Lakes Trek

Kashmir Great Lakes Trek की मेन ट्रेल ढाबे के पास से सिंध नदी के पैरलल जाती हुई जीप ट्रेक्स से शुरू होती है। 10-15 मिनट चलने के बाद लेफ़्ट में एक मेडो की ओर मुड़ जाती है। इस मीडो से सोनमर्ग टाउन का एक बेहतरीन नज़ारा मिलता है। तकरीबन आधे घंटे तक इसी मैदान पर चलने के बाद हम वापिस पेड़ों के बीच में पहुँच जायेंगे। चिनार के घने पेड़ो अगले दो एक घंटे तक आपके साथी होंगे और जैसे जैसे आप ऊपर चढ़ते जाएंगे, वैसे वैसे सोनमर्ग के नज़ारे और शानदार होते जाते हैं। सोनमर्ग के यह नज़ारे एक और काम भी आते हैं, चढाई के दौरान अगर आपको सोनमर्ग टाउन का पूरा व्यू नहीं दिख रहा है तो आप गलत जा रहे हैं। दो घंटे की चढाई के बाद आप पहुँच जायेंगे एक रिज यानी कि धार पर पहुँच जायेंगे जहाँ से चढाई ख़त्म हो कर उतराई शुरू होती है। यहाँ आपको एक और मेडो मिलेगा जहाँ बैठ के आप लंच कर सकते है, भोज पत्र के पेड़ो से घिरा यह मैदान शेखदुर के नाम से जाना जाता है।

Nichnai Pass

शेखदुर से ट्रेल जंगल में से होते हुए नीचे उतरती है, 40-45 मिनट के डीसेंट के बाद आप एक ओपन रिवर वैली में पहुँच जायेंगे। यह नदी नीचे जा कर सिंध नदी में मिलती है। इस वैली में कुछ देर तक ट्रेल स्टोन्स और बोल्डर्स के बीच से गुजरती है और उसके बाद घास के धुले मैदान मिलेंगे। यह जगह निचनई के नाम से जानी जाती है। पहले दिन का कैंप इसी मैदान में कहीं अच्छी जगह ढूंढ कर लगाना बेस्ट रहेगा। सिर्फ इन मैदानों में नहीं,  Kashmir Great Lakes Trek पर शेखदुर के बाद आपको कहीं भी जलावन नहीं मिलेगा। जैसे ही आप दूसरे दिन निचनई से ट्रैकिंग शुरू करते हैं, आपके सामने होंगे दूर तक फैले घास के मैदान और उनके पीछे निचनई पास जिसे विशनसर बेरी के नाम से भी जाना जाता है। आधे घंटे तक नदी के राइट बैंक पर चलने के बाद नदी पर करके आपको राइट साइड हो लेना है और अगले पूरे एक घंटे तक इसी पार चलते रहना है। जैसे जैसे आपको घड़ी में टाइम चढ़ता हुआ दिखेगा, वैसे वैसे आप देखेंगे कि चढाई भी शुरू हो रही है।

Izhar at Vishansar

जैसे ही आप निचनई पास की चढाई शुरू करेंगे, पहाड़ के बेस पर आपको एक छोटी सी लेक दिखेगी और फिर यहाँ से शुरू होगा कश्मीर ग्रेट लेक्स का असली तमाशा। मतलब की यहाँ से हर पल आपको बस यही लगता रहेगा कि बस यह आई एक और लेक, अब आ गई, पर किसी भी लेक तक जाने में आपको काफी टाइम लगता है, और यह टीजिंग पूरे ट्रेक पर ऐसे ही बनी रहेगी। निचनई पास के टॉप से एक तरफ सोनमर्ग वैली के नज़ारे दिखते हैं तो दूसरी ओर बर्फ से ढंके पहाड़। पास चढ़ने के बाद घुटनों को थोड़ा रेस्ट देना बनता है क्योंकि दूसरी तरफ सीधी उतराई है, जो कि एक घंटे से कम में नहीं मानने वाली है। लेफ़्ट साइड में एक वॉटरफॉल तक उतराई बदस्तूर ज़ारी रहेगी और एक घंटे की इस पथरीली उतराई के बाद आपके सामने फिर से होंगे मीलों तक फैले घास के मैदान। इस मैदान में चलते चलते आपको सीधे हाथ पर लद्दाख जैसे भूरे और सूखे पहाड़ दिखेंगे, तो दूसरी तरफ आप देखेंगे कश्मीर घाटी की चिर परिचित ग्रीनरी. लेफ़्ट साइड में एक स्ट्रीम दिखेगी, ये स्ट्रीम पकड़ लें और चलते रहें तो तकरीबन आधे घंटे के बाद आपको स्ट्रीम क्रॉस करके दूसरी तरफ जाना पड़ेगा। पहले ही बता देते है पानी सीधा ग्लेशियर से आता है और दोपहर में भी बहुत ही ज़्यादा ठंडा होता है।

Daria at Kishansar Lake

इस मैदान पर ऑलमोस्ट वन एंड अ हाफ आवर तक चलने के बाद आप को आपके लेफ़्ट से आपके राइट की ओर जाती एक और स्ट्रीम मिलेगी। अगर आप के घुटने अभी भी आपका साथ दे रहे हैं, तो आप आगे चलिए नहीं तो, यह जगह कैम्प करने के लिए बेस्ट रहेगी। यह स्ट्रीम सीधा विशनसर लेक से निकलती है पर यहाँ से आपको विशनसर नहीं दिखेगी, उसके लिए आपको थोड़ा और ऊपर चढ़ना पड़ेगा। चार पहाड़ों के बीच में विशनसर लेक के शांत पानी में किशनसर पीक का बहुत ही बढ़िया रिफ्लेक्शन दिखता है। अगर आपने अभी तक टेंट नहीं टिकाए हैं और घुटनों ने अभी तक जवाब नहीं दिया है, तो फिर आधा किलोमीटर और चल लीजिए क्योंकि एक और मैजिकल लेक आपका इंतज़ार कर रही है। किशनसर लेक, विशनसर से कोई आधा किलोमीटर ही दूर है पर 500 मीटर का एलेवशन गेन है, इस आधे किलोमीटर में ही। ऊपर की तरफ चढ़के कैम्प करेंगे तो आपको दोनों ट्विन लेक्स एक साथ दिखेंगी। तो मतलब यह कि वहां नीचे कैंपिंग करने का कोई तुक नहीं बनता है।

Kishansar Vishansar Twin Lakes

अगले दिन किशनसर लेक से गदसर पास की चढाई शुरू हो जाती है। गदसर पास ग्रेट लेक्स ऑफ़ कश्मीर ट्रेक पर सबसे ऊँचा पॉइंट है। जैसे जैसे आप ऊपर चढ़ते जाएंगे, वैसे वैसे विशनसर और किशनसर के नज़ारे और बेहतरीन होते जाते है। गदसर पास पर बर्फ़ शायद ही मिले, पर पास से नज़ारे बहुत ही खूबसूरत दिखते हैं। एक तरफ विशनसर किशनसर दिखते हैं, तो दूसरी तरफ तीन लेक्स हैं। लेफ़्ट में सबसे पहले है यमसर लेक, जिसके साथ कुछ किद्वन्तियाँ जुडी हैं। यमसर लेक से एक घंटे और नीचे उतरने पर एक और छोटी सी बे-नाम लेक है। रंग-बिरंगे फूलों से भरे घास के मैदानों से गुजरते हुए आपका अगला डेस्टिनेशन होगा गदसर लेक जो पूरे ट्रेक की सबसे खूबसूरत झील है। गदसर कैंपिंग के लिए सबसे बेहतरीन जगह हो सकती है पर यहाँ कैंप करके इस खूबसूरत जगह को बिगाड़ न दें, इसलिए गदसर से आगे निकल कर जो आर्मी पोस्ट आता है, वहां कैंपिंग करें और अच्छे नागरिक होने का प्रमाण दें।

Gadsar Pass

अब अगर आपके घुटनों की आपसे अच्छी बन रही है, तो फिर अगली सुबह जल्दी से निकल कर आप सीधा गंगबल जा सकते हैं। इसके लिए, एक दिन में 20 किलोमीटर चलना पड़ेगा। अगर आपकी अपने घुटनों से ज़्यादा नहीं बनती है, तो फिर आज के लिए आपका डेस्टिनेशन होना चाहिए सतसर लेक। सतसर सात अलग-अलग झीलों का मिक्स है, पर सीज़न के हिसाब से आपको 3 – 4 लेक में ही पानी मिलेगा। गदसर वाले आर्मी पोस्ट से लेफ़्ट की ओर एक स्ट्रीम जाती है. अगले आधे घंटे तक इसी स्ट्रीम के साथ साथ चलते रहे और फिर सही जगह देख कर cross कर लें. वैसे तो एक पुल भी है करीब एक किलोमीटर की तीखी चढाई के बाद, पर बेहतर है कि स्ट्रीम ही क्रॉस कर लें। स्ट्रीम क्रॉस करते ही चढाई शुरू होगी जो कि आपको सीधा 11,500 ft  की ऊंचाई पर ले जाएगी। इस रिज़ से आपको सतसर लेक आसानी से नज़र आ जाएगी। लेक के पास भी कैंप करने की बहुत जगह है पर Lake से थोड़ा ही आगे एक और आर्मी चेकपोस्ट है — उसके आस पास कैंप करें। इससे आप सुरक्षित महसूस करेंगे और झील पर भी कोई कचरा नहीं होगा।

Gadsar Lake

सतसर वाली कैंप से अगली सुबह निकलेंगे तो आधे घंटे बाद आपको राइट साइड में 1000 ft की ऊंचाई पर रिज लाइन दिखेगी, जो कि ज़्यादा डिफ़ीकल्ट तो नहीं है पर फिर भी 45 एक मिनट तो लग ही जाते हैं — ऊपर तक पहुँचने में। यहाँ से आपको दो और रिज लाइन दिखेंगे। 2 घंटे की अच्छी खासी मशक़्क़त के बाद आप जब आखिरी रिज पर खड़े होंगे न, तो आपको दूसरी तरफ एक बार फिर से कुछ और लेक्स दिखेंगी। छोटी झीलों का तो कोई नाम नहीं है, पर दो बड़ी लेक्स को नांदखोल और गंगबल लेक के नाम से जाना जाता है। अभी तक जितनी भी लेक्स मिली हैं, सब काफी साफ़ सुथरी थी पर गंगबल लेक और नांदखोल पर इंसानी कचरा काफी मिल जाएगा। नांदखोल लेक हरमुख पीक के ठीक नीचे है और अगर आपको फोटो लेने का शौक़ है, तो इससे बढ़िया मौका नहीं मिलेगा शायद फिर। नांदखोल से करीब 20 मिनट दूर है गंगबल लेक. गंगबल और नांदखोल लेक, दोनों ही ट्राउट फिश के लिए काफी फ़ेमस हैं और कैंपिंग करने को भी काफी जगह है. यहाँ तो रात के लिए डेरा डाला जा सकता है।

Izhar at Gangabal Lake

यह ट्रेक पर आपकी आखिरी सुबह होगी आपकी और जाते जाते भी यह ट्रेक आपके घुटनों का इम्तिहान जरूर लेगी। अगर आपने नख़रे किए तो ये आपकी भी लेने में कोई संकोच नहीं करेगी। जैसे ही आप गंगबल लेक की कैंप साइट से निकलेंगे, नीचे आपको ट्री लाइन की तरफ जाती एक स्ट्रीम दिखाई देगी। स्ट्रीम को छोड़ दें और रिज पर चलते रहें। थोड़ा बहुत मोबाइल नेटवर्क मिल सकता है आधे घंटे चलने के बाद। एक घंटे की ट्रेकिंग आपको वापस पेड़ों में ले आएगी। यहाँ जंगल में न घुसे, जानवरों का कोई सीन तो नहीं है, पर आपकी ट्रेल उस तरफ नहीं है। राइट की तरफ पेड़ों के किनारे किनारे चलते जाएँ, जब आप कोई दो तिहाई हिस्सा चल चुके होंगे तो आपके सामने होगा कुछ ज्यादा ही स्टीप डीसेंट। लास्ट 4 किलोमीटर में कुल मिला कर आप 3,000ft का एलीवेशन ड्राप करते हैं।

Camping at Gadsar Pass

3,000 ft का यह ड्रॉप आपको सीधा ला पटकेगा नारनाग में, जहाँ कश्मीर ग्रेट लेक्स ट्रेक का दी एन्ड होता है। अगर आप चाहें तो नारनाग में रात बिता सकते हैं या फिर टैक्सी कर के सीधे श्रीनगर भी जा सकते हैं, जैसा आपका मन कहे वैसा करें। पर वापस आकर हमें यह जरूर बताईयेगा कि यह गाइड आपके कितने काम आई इस ट्रेक में। फिर मिलते है अगले सोमवार को एक और डेस्टिनेशन की गाइड के साथ।

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